ब्लैक फंगस Mucormycosis
Black Fungus Mucormycosis |
नमस्कार दोस्तों आपका बहुत-बहुत स्वागत है आज हम बात करेंगे म्यूकरमायकोसिस की यानि ब्लैक फंगस के बारे में । आप लोग आजकल टीवी पर न्यूज़ पेपर पर देख रहे हैं की पोस्ट कोविड पेशेंट्स में म्यूकार्माइकोसिस के होने की संभावनाएं बहुत ज्यादा बढ़ गई है । इस इंफेक्शन के बाद में मृत्यु दर भी बहुत ज्यादा बढ रही है।
इस ब्लॉग में आप जानेंगे की क्या होती है यह ब्लैक फंगस और कैसे ट्रांसमिट होती हैं आपके अंदर, कौन से लोगों में इसको होने की संभावना बहुत ज्यादा होती है, कैसे लक्षण हैं जिसकी मदद से आप पहचाने कि आपको ब्लैक फंगस का इंफेक्शन हो रहा है कौन सी होम्योपैथिक मेडिसिन से आप अपना बचाव कर सकते हैं। अगर आप को ये इन्फेक्शन हो गया हो, तो आपको क्या ट्रीटमेंट प्लान आगे लेना चाहिए सारी चीजें आज आप इस ब्लॉग में जानेंगे।
क्या है ब्लैक फंगस?
यह हमारे वातावरण में पाई जाने वाली एक खास प्रकार की फंगस है जो यूज़ वाली किसी भी चीज को डिक्रीस करने में डीकंपोज करने में हेल्प करती थी । जैसे सड़ी हुई पत्तियां है या फिर लकड़ी है इन सबको डी कंपोस्ट करने में मदद करते थे। आजकल इसकी तादाद बहुत ज्यादा बढ़ने लग गई है और कुछ कुछ केस में इसकी वजह से मृत्यु दर बहुत ज्यादा देखने को मिलेगी लगभग 50% से लेकर 85% तक इसकी मृत्यु दर नोटिस की गई है, बहुत सारे पेशेंट को फिर से रिकवर होकर या ठीक हो जाने के बाद इस तरह का फंगल इंफेक्शन हो जाता है और उनकी डेथ हो जा रही है। इस ब्लॉग में आप जान सकेंगे कि आखिर यह कौनसा इंफेक्शन है, किस तरह से फैल रहा है, कैसे लक्षण आपको देखने को मिलेंगे आपको सचेत होने की आवश्यकता है ।यह उन लोगों में बहुत जल्दी असर करता है जिनका इम्यून सिस्टम बहुत ज्यादा पुअर होता है यानी कि कमजोर होता है अगर आप उसे बहुत क्रॉनिक परेशानी से
पीड़ित है जैसे कि डायबिटीज और आपको अनकंट्रोल डायबिटीज रही है, साथी साथ आप इम्यूनोसपरेसिव मेडिसिंस पर हैं,या ऐसी कोई लंबी बीमारी से होते हैं जिसके वजह से आपका शरीर बहुत ज्यादा कमजोर है, आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता बहुत ज्यादा कमजोर है तो यह फंगल इन्फेक्शन आपको हो सकता है । ये कोविड से ठीक हुए मरीजों में क्यों या फिर ज्यादा देखने को मिल रहा है, क्योंकि उन मरीजों में बहुत लंबे समय तक स्ट्रोंग स्टीरोइड प्रयोग किए जाते हैं, जिससे उनका इम्यून सिस्टम एकदम खराब हो चुका होता है, और खराब इम्यूनिटी की वजह से उन लोगों में जो शुगर लेवल बहुत कम हो जाताहै । इस तरह फंगस के लिए बहुत प्रोन सिचुएशन बन जाती है, बहुत फेवरेबल सिचुएशन बन जाती है और वह आसानी से आपके शरीर में इंफेक्शन कर लेती है ।
ब्लैक फंगस के प्रकार:
1-राइनोसेरेब्रल आपके ब्रेन और साइनस एरिया को यह बहुत ज्यादा कवर कर रहा है । ये आपके आंखों में इंफेक्शन पहुंचा रहा हैं और इस से पीड़ित होने की वजह से बहुत सारे लोगों के आंखों तक को निकालना पड़ जा रहा है ताकि उनके जीवन को बचाया जा सके। क्योंकि अगर ये इन्फेक्शन आपके दिमाग में प्रवेश कर गया तो आप को बचाना बहुत मुश्किल हो सकता है
2-पल्मोनरी (फेफड़ों संबंधी) म्युकरमाइकोसिस: इस इंफेक्शन
में फेफड़ों संबंधी म्युकरमाइकोसिस
3-क्यूटेनियस म्युकरमाइकोसिस: इस इंफेक्शन में आपकी त्वचा प्रभावित हो जाती है। आपकी त्वचा पर काले धब्बे हो जाते हैं और बाद में प्रभावित हिस्सा सड़ने लगता है।
Gastrointestinal Mucormycosis image |
4-जठरांत्र संबंधी म्यूकोरमाइकोसिस:इस इंफेक्शन में आपकी आंतों में परेशानी होती है, पाचनतंत्र बुरी तरह प्रभावित हो जाता हैै।
5-डिसेमिनेटेड म्युकरमाइकोसिस:इस इंफेक्शन में आपका रक्त (खून) प्रभावित हो जाता है। ये पीड़ित व्यक्ति के खून में मिलकर दिमाग तक पहुंच जाता है जिसके कारण उसकी मौत भी हो जाती है।
म्युकरमाइकोसिस लक्षण
राइनोसेरेब्रल म्यूकार्माइकोसिस
अब हम बात कर लेते हैं राइनोसेरेब्रल म्यूकार्माइकोसिस के बारे में इसमें कैसे लक्षण मिलते हैं कि आप पहचान सके है कि आपको इस तरह का इंफेक्शन हो रहा है ।तो सबसे पहले राइनोसेरेब्रल में दोस्तों आपको आधे सर में स्वेलिंग और आपको लालटेन जैसी देखने को मिलेगी। हाफ पार्ट ऑफ बॉडी में चाहे वह राइट हो लैफ्ट उसमें आपको रेडनेस मिलेगी, स्वेलिंग मिलेगी ।आपकी आंखों में सूजन मिलेगी नाक मैं आपको कंजेशन मिलेगा। नाक में आपको लगेगा जैसे साइनस इन्फेक्शन हो गया है। नैज़ल कन्साजैशन इनफेक्शन में दोनों ही तरह के कंजेशन आपको देखने को मिलेंगे सर में दर्द मिल सकता है । इस तरह के लक्षण राइनोसेरेब्रल म्यूकार्माइकोसिस देखने को मिलेगा ।
पलमोनरी म्यूकार्माइकोसिस
दूसरा जो मैंने बताया तो था जिसको पलमोनरी म्यूकार्माइकोसिस बोलते हैं । लंग्स में पहुंच गया है तो आपको हाई ग्रेड फीवर मिल सकता है दूसरा आपको कफिंग मिलेगी चेस्ट कंजेशन मिलेगा ।सांस लेने में दिक्कत मिलेगी।
अगर आपको कोविड ठीक होने के बाद इस तरह के लक्षण दिखाई दे रहे हैं तो आपको हॉस्पिटल में चेकअप कराना है। आपको जाकर मिलना है अपनी डॉक्टर से, कहीं यह इफैक्शन म्युकरमाइकोसिस माइकोसिस का तो नहीं हो रहा है।
जठरांत्र संबंधी म्यूकोरमाइकोसिस(Gastrointestinal Mucormycosis)
आपको Gastrointestinal Mucormycosis हो रहा है ।
तो आपको पेट में दर्द होगा,आपको पेट में भारीपन लग सकता है, आपको उल्टी और दस्त हो सकते हैैं जिसमें मैं आपको ब्लड आ सकता है ।इस तरह के लक्षण अगर आपको मिल रहे हैं तो आप हॉस्पिटल में या डॉक्टर से संपर्क करें कभी आप को इस तरह का फंगल इनफेक्शन तो नहीं है।
दोस्तों अगर आपको ऊपर दिए गए लक्षण देखने को मिल रहे हैं और आप किसी किसी बीमारी से लंबे समय तक तक ग्रस्त रहें हैं, तो आप को तुरंत ही डॉक्टर से सम्पर्क करना चाहिए ताकि इलाज जल्दी से जल्दी शुरू किया जा सके। अगर ट्रीटमेंट शुरू किया जा सकेगा वह पेशन के ठीक होने के चांसेस उतने होंगे अगर आप जितना लेट करेंगे मृत्यु- दर बढ़ने के चांस सबसे ज्यादा है। हम बात करते हैं कि हम कैसे जानेंगे कि हमको म्युकरमाइकोसिस है कि नहीं आपको ऐसे लक्षण आ रहे हैं तो सबसे पहले डॉक्टर के पास जाएं, डॉक्टर उसको फिजिकल जांच करके बता सकता है कि इंफेक्शन है कि नहीं ।साथ ही साथ वह आपके कुछ टैस्ट भी करा सकता है । आपके जो रेस्पिरेट्री ट्रैक्ट से सैंपल लेकर उसका फंगल कल्चर करा कर देखेगा कि आपको फंगल का इंफेक्शन है या नहीं है ।
इसके अलावा MRI के जरिए भी डॉक्टर चेक करते हैं कि इसका इंस्पेक्शन आपके शरीर के विभिन्न हिस्सों चाहे वह ब्रेन का एरिया हो लंग्स एरिया हो या एवडोमिनल एरिया है उसे उसी की करके चेक कर सकते हैं कि इन हिस्सों में फंगल इंफेक्शन फैल रहा है।
तो यह डायग्नोसिस है, यह आप खुद से नहीं कर सकते इसके लिए आपको पहले अपने डॉक्टर के साथ जाकर मिलना है। आपको इमीडीएटली इनमें से कोई भी लक्षण आ रहे हैं प्लीज बिल्कुल देर मत करें क्योंकि यह बहुत ही जानलेवा साबित हो रहा है।
इस में बचना अभी तक बहुत ही कम लोगों में कंफर्म है, तो प्लीज घर पर रहकर इसका एक्सपेरिमेंट बिल्कुल भी ना करे। एक होम्योपैथिक दवा है जो ऐसे प्रीवेंटिव (बचाव)आप यूज़ कर सकते है।आप कोविड से रिकवर होकर आए हैं, तो आपका इम्यून सिस्टम एकदम बैठा सा लग रहा है, तो आप इस दवा को शुरू कर दें। कि कहीं ,आपको अगर फंगल इंफेक्शन थोड़ा बहुत भी होगा,तो यह उसको बढ़ने नहीं देगा और उसको रोक लेगा ।
आपको रेकवेग की R82 दवा को शुरू करना है, जो कि एंटीफंगल है,यह नोसोड से बनी मेडिसिन। जिसे जितने भी प्रकार के फंगस होते हैं उन से निकाली गई दवाई है ।इसको आपको पांच बूंद एक चौथाई का पानी में डालकर दिन में तीन बार लेना है।
आप चाहें तो जो दवा डॉक्टर ने चला रखी है,उसके साथ इसको आप ले सकते हैं। लेकिन इस दवा पर आप बिल्कुल भी निर्भर नहीं रहेंगे, की यह दवा तो हम खा रहे हैं मुझे इंफेक्शन नहीं होगा । अगर आप कोई भी दिक्कत आ रही है तो आप तुंरत अपने डॉक्टर से सलाह लें और इलाज करवायेंगे।
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